RGPV मे 200 करोड़ की जाँच शुरू, जाच समिति ने मांगे लेखा उपविभाग से 2-3 साल की फाइलें, ऋषिकेश वर्मा से की पूछताछ

RGPV मे 200 करोड़ की जाँच शुरू, जाच समिति ने मांगे लेखा-उपविभाग से 2-3 साल की फाइलें, वही हम आपको बता दें कि वित्त नियंत्रक ऋषिकेश वर्मा से की पूछताछ ,जांच समिति के द्वारा.
सूत्रों के हवाले से जो खबर मिल रही है कि जो वित्त नियंत्रक ऋषिकेश वर्मा कभी राजीव गांधी प्रतिदिन विश्वविद्यालय में घंटो ऑफिस में नहीं बेठता वह आज जाच कमेटी के सामने बैठा
कई घंटों ऑफिस में बैठा और वह आज जाच समिति के सामने बैठ के जवाब दे रहा था सवालों के.

हमारे सूत्रों के हवाले से खबर निकलेगी की जांच कमेटी अकाउंटेंट का काम करने वाले बाबू शंभू के रूप से भी पूछताछ कर सकती है इसी शंभू की मिली भगत से वित्त नियंत्रक ऋषिकेश वर्मा सारा काम कर रहा था सर फिर किसी को बताएं अगर सही से जांच कमेटी जांच करें तो.
सूत्रों से हवाले से यह भी खबर मिल रही है कि राजू टी स्टाल के यहां से चाय थी आई थी अब सवाल यह उठता है कि 12 किलोमीटर दूर हमीदिया से राजीव गांधी विश्वविद्यालय बना हुआ है जहां से चाय अतिथि और राजू टी स्टॉल को पैसा हर महीने पहुंचता था यह भी एक जांच का विषय बना हुआ है और एक सवाल ने भी उठना है कि कौन वह व्यक्ति है जो प्रोटीन खाता है जो की सरकारी पैसों से आता था इसकी भी जांच जांच कमेटी को करना चाहिए हमारे द्वारा भी एक शिकायत की गई थी जिसमें मंत्रालय से आदेश हुआ था कि ऋषिकेश वर्मा की जांच की जाए वह आदेश नीचे देखें.

जांच कमेटी के द्वारा आज सुबह 11 से शाम 07 तक जांच की और वित्त नियंत्रक ऋषिकेश वर्मा को भी वहां पर बिठाकर पूछताछ की .
आज पहला दिन ऐसा होगा जब ऋषिकेश वर्मा को याद आया होगा कि मैं आज इतनी देर बैठा हूं और इतना में कभी भी नहीं बैठा राजीव गांधी विश्वविद्यालय.
200करोड़ की जाँच कर रही है समिति और कौन-कौन से अधिकारी और कर्मचारियों के नाम आएंगे सामने अभी जांच में खुलासा होगा हमारे से सूत्रों के अनुसार जानकारी मिल रही है कि एग्जाम कंट्रोलर के ऊपर भी गाज गिर सकती है अगर जांच सही से हो तो
200करोड़ की जाँच शुरू ,अगर शंभू सिंह स्थाईकर्मी लेखा शाखा से अभी भी जाँच के दायरे से.
बाहर जबकि सारी लेन देन की फाइल यही निपटाता था इसकी नोटिंग के बगैर वित्त नियंत्रक फाइल पर हस्ताक्षर ही नहीं करते थी समझ रहा है ना इससे क्या लेन देन सारा हिसाब किताब शंभू सिंह के पास अगर जांच में सही से होती है यह भी जांच के दायरे में आएगा और उससे भी बहुत सारे राज खुलेंगे अब देखना है कि जाट समिति किन-किन से पूछताछ करती है